अभी तक 35 हजार से अधिक भोले के भक्त कर चुके है दर्शन ddnewsportal.com

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चूड़धार में रौजाना पंहुच रहे हजारों श्रद्वालू

अभी तक 35 हजार से अधिक भोले के भक्त कर चुके है दर्शन, समीति की रात को यात्रा न करने की अपील।

उत्तर भारत के प्रसिद्व तीर्थ स्थलों मे शामिल चूड़ेश्वर महाराज की यात्रा आजकल चरम पर है। करीब पांच-छह राज्यों के भोले के भक्त रौजाना हजारों की तादात मे चूड़धार पंहुचकर चूड़ेश्वर महाराज के दर्शन कर रहे है। इनमे से अधिकतर श्रद्वालू एनएच-707 बद्रीपुर-गुम्मा होते हुए चूड़धार पंहुच रहे है। गत मई माह के 14 तारीख से आरंभ हुई इस यात्रा को अभी तक करीब 32 से 35 हजार श्रद्वालू पूरा कर चुके है। जानकारी के मुताबिक उत्तर भारत की यह प्रसिद्व यात्रा वैसे तो आधिकारिक तौर पर मई से शुरु होती है लेकिन इस बार वर्फ के जल्दी पिघलने के कारण कई यात्री एक माह पूर्व ही अप्रैल से यात्रा करने लगे थे। चूड़ेश्वर सैवा समिति की केंद्रिय कार्यकारिणी के

मुताबिक रौजाना हजारों की तादात मे भोले के भक्त चूड़धार पंहुच रहे है। इसमे 1200 से 1500 यात्री रौजाना चूड़धार पंहुच रहे हैं। पूर्णिमा, एकादशी और वीकेंड यानि शनिवार और रविवार को प्रतिदिन यह संख्या बढ़ जाती है और 5 हजार तक पंहुच जाती है। हजारों की संख्या मे भक्त यहां पंहुचते हैं। इन भक्तों के रात्रि ठहराव व भोजन की विशेष व्यवस्था भी समीति की और से ही की जाती है। चूड़ेश्वर सेवा समीति की सरायं मे करीब 3 हजार लोगों के ठहरने की व्यवस्था है जबकि मंदिर समीति की दो सरांय मे भी 1500 से अधिक यात्री रुक सकते है। हालांकि बर्फबारी के कारण इस बार समीति की सराय क्षतिग्रस्त हुई है जिनकी मुरम्मत का कार्य चला हुआ है। अब उक्त धार्मिक स्थल पर पानी की समस्या दूर हो चुकी है। शिलाई क्षेत्र से कुछ भक्त हर साल पैदल भी इस यात्रा को करते है। लेकिन निगम के बसों की सुविधा न होने के कारण ज्यादातर भक्त निजी छोटे वाहनों मे ही यात्रा करते है। इस बार भी क्षेत्र की मांग के बावजूद परिवहन निगम ने यात्रा के लिए कोई स्पेशल बसें नही लगाई है। यह यात्रा नवम्बर माह की एकादशी तक चलती रहती है जिससे उम्मीद जताई जा रही है कि इस बार भक्तों का आंकड़ा तीन वर्ष पूर्व के 60 हजार को पार कर सकता है। समीति की केंद्रिय कार्यकारिणी की प्रचार प्रसार समीति के अध्यक्ष रतिराम रंगवाल ने बताया कि अभी तक 35 हजार के करीब भक्त भोले बाबा के दर्शन कर चुके हैं। प्रतिदिन 1200 के करीब भक्त चूड़धार पंहुच रहे हैं। वीकेंड और छुट्टी सहित विशेष मंचों पर यह संख्या पांच हजार को पार कर जाती है। 

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तीन बजे के बाद यात्रा करने से बचें- 

समीति का कहना है कि वीकेंड पर चूड़धार पंहुचने वाले भक्तों की तादात मे अचानक ही ईजाफा हो जाता है। जिस कारण व्यवस्था बनाने मे समय लगता है। आजकल हर दिन भक श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ रही है। इसलिए समीति ने भक्तों से आहवान किया है कि जो भी भक्त चूड़धार आना चाहते हैं वो  तीन बजे के बाद चूड़धार की तरफ यात्रा न करें। यानि तीन बजे तक चूड़धार पंहुच

जायें ताकि उनके ठहराव व भोजन की व्यवस्था की जा सके। समीति का कहना है कि शाम को समीति सदस्य व सेवादार भोजन आदि व्यवस्था मे लग जाते है जिस कारण देरी से आने वाले भक्तों के लिए व्यवस्था बनाने मे दिक्कत आती है। इसलिए जो भी यात्रा पर आएं वो शाम तीन बजे तक चूड़धार पंहुच जायें।